कुम्भ- धर्म संसद में शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद का बड़ा ऐलान,21 फरवरी को होगा राममंदिर का शिलान्यास,आज़म खान ने कहा सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन कराना सरकार का दायित्व

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प्रयागराज/रामपुर/उत्तर प्रदेश[सऊद खान]: प्रयागराज में कुम्भ में हुए धर्म संसद में शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद ने एक बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने कहा है कि 10 फरवरी को प्रयागराज में स्नान के बाद साधू-संत अयोध्या का कूच करेंगे और 21 फरवरी को राम मंदिर का शिलान्यास करेंगे। कुम्भ मेले में 28, 29 और 30 जनवरी को चले धर्म संसद के आखरी दिन स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती द्वारा पारित परम धर्मादेश में हिंदू समाज से बसंत पंचमी के बाद प्रयागराज से अयोध्या के लिए प्रस्थान करने का आह्वान किया गया है।

Swami Ji and Azam Khan
स्वामी स्वरूपानंद और आज़म खान

समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मोहम्मद आज़म खान ने इस प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि ये भारत सरकार और उत्तर प्रदेश सरकार के देखने की बात है क्योंकि लॉ एंड ऑर्डर का मामला होगा। ऐसा ना हो के मेरी बात जो मैं बहुत ज़माने से कह रहा हूं कि देश में अनार्की के हालात है और कभी भी हालत बिगाड़े जा सकते हैं। उन्होंने ये भी कहा कि इसमें हमारे परेशान होने की बात इसलिए नहीं है क्योंकि 6 दिसंबर 1992 को जो हुआ था बाबरी मस्जिद को शहीद करने वाला सानिहा (हादसा) तो उससे बड़ा हादसा तो हिंदुस्तान के इतिहास में उसकी तारीख में हुआ ही नहीं। पूरी दुनिया ने जिसकी निंदा की। उसके बाद हर बात के लिए मुसलमान तैयार हो गया है और तैयार होना उसकी मजबूरी भी है क्योंकि उसके पास कोई दूसरा रास्ता तो है नहीं। मुसलमान तो जो उम्मीद करता है संविधान से करता है या विधान से करता है उसे अदालतों पर उम्मीद है, न्यायालय पर उम्मीद है, न्यायपालिका पर उम्मीद है। आज़म खान ने कहा कि हम तो बराबर कह रहे हैं अदालत के फैसले का इंतजार करो और अपने हाथों में पत्थर ना लो। मामला तो सुप्रीम कोर्ट में है, अब सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन कराना ये तो सरकारों का दायित्व है।
अमित शाह परेशान न हों,अपनी फ़िक्र करें,पहले रुखसत हों…
अमित शाह के महागठबंधन पर दिए गए बयान “अगर महा गठबंधन सत्ता में आया तो हफ्ते में 1 दिन मायावती, 1 दिन अखिलेश और एक दिन ममता रहेंगी पीएम” पर पलटवार करते हुए आजम खान ने कहा कि अमित शाह इस बात के लिए परेशान ना हों… बिल्कुल परेशान ना हों, इस बारे में सोचें कि जिस सीबीआई और ई डी का इस्तेमाल वो करते रहे हैं उसका क्या होगा।Azam khan and amit shah सत्ता की फिक्र ना करें जिनको तख्त मिलता है उन्हें तख्ता भी मिलता हैं। तो तख्त वाले लोग कोई ऐसा काम ना करें कि तख्ते का इंतजाम इतिहास करे।परवाह ना करें जो भी होगा अच्छा होगा, पहले वो रुखसत हों।

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