नागरिक संशोधन क़ानून (CAA) के खिलाफ हज़ारों महिलाओं ने मोदी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया
Globaltoday.in|सम्भल
नागरिक संशोधन क़ानून(CAA) के लिए खिलाफ देश भर में प्रदर्शन जारी हैं। लगभग हिन्दुस्तान के हर शहर में मुसलमानों के साथ साथ और भी धर्मों के लोग इस क़ानून के ख़िलाफ़ प्रदर्शन कर रहे हैं। इस प्रदर्शन की खास बात ये है कि इसमें महिलाएं और बच्चे भी बड़ी तादाद में हिस्सा ले रहे हैं।
उत्तर प्रदेश के जनपद सम्भल के इतिहास में पहली बार इतनी इतनी बड़ी संख्या में महिलाएं प्रदर्शन करने बे-खौफ होकर सड़कों पर आ गयीं। उनके हाथों में बैनर और तख्तियां थीं। ये महिलायें एनआरसी(NRC)को निरस्त करने और नागरिक संशोधन क़ानून(CAA) से पैदा हुए भेदभाव को खत्म करने के लिए अपनी बुलंद आवाज़ में मांग कर रही थीं।
इस प्रदर्शन के मौके पर बवाल के दौरान पकड़े गए निर्दोष लोगों को रिहा करने की मांग भी उठाई गई और अज्ञात लोगों के नाम पर बेकसूर लोगों को गिरफ्तार न करने के लिए भी मांग की गयी।
गौरतलब है कि सम्भल में अब तक का ये सबसे बड़ा विरोध प्रदर्शन था जो हसन प्लेस में हुआ और जिसमे इतनी बड़ी संख्या में महिलाओं ने हिस्सा लिया। अलग अलग मोहल्ले की महिलाएं समूह बनाकर यहां इकट्ठा हुईं और देखते ही देखते महिलाओं की संख्या हज़ारों में हो गयी।
हालात को संभालने के लिये उप-जिलाधिकारी और पुलिस प्रशासन ने कहा कि शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कारी अपनी आवाज़ उठाएं ।प्रदर्शन कर रही महिलाओं ने कहा कि नागरिकता संशोधन क़ानून एक काला कानून है, उसे निरस्त किया जाए या फिर दूसरे वर्गों के लिए भी भारतीय नागरिकता बनाने का प्रावधान किया जाए।
सम्भल में सिर्फ विरोध प्रदर्शन ही नहीं हो रहे हैं बल्कि देश में शांति और अमन के लिए दुआएं भी हो रही हैं। अमन के लिए उलेमा और प्रशासन के बीच संवाद हुआ था इसके बाद अमन और शांति के लिए चौतरफा पहल हुई। तमाम लोग अपने अपने तरीके से अमन के लिए लोगों के बीच संवाद कर रहे हैं,एक दूसरे के मददगार बन रहे हैं। प्रदर्शन कारी महिलाओं ने भी हसन प्लेस में अमन के लिए दुआ की। महिलाओं का कहना था कि वो चाहती हैं कि संभाल में अमन हो और यहां के लोग तरक्की करें और आगे बढ़े और जो हालात इस वक़्त मुल्क में पैदा किये गए हैं उस पर कंट्रोल होना चाहिए।
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