पुलिस अधीक्षक रामपुर के बंगले पर समाजवादी पार्टी के नेताओ ने की नारे बाजी, दिया धरना
उत्तर प्रदेश/रामपुर: समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मोहम्मद आजम खान(Azam Khan) से मिलने दिल्ली पहुंचे अखिलेश यादव के साथ फोटो खिंचवाना महंगा पड़ा। पुलिस ने दिल्ली में अखिलेश यादव, आजम खान और अब्दुल्ला आजम खान के साथ फोटो में मौजूद विधायक अब्दुल्लाह आजम खान(Abdullah Azam Khan) के बेहद करीबी दोस्तों अनवार और सालिम को एक पुराने वायरल वीडियो के आधार पर गिरफ्तार कर लिया। वायरल वीडियो में कुछ युवकों को ताश के पत्तों पर जुआ खेलते दिखाया गया है।
पुलिस की इस कार्रवाई के बाद समाजवादी पार्टी के नेता रामपुर पुलिस अधीक्षक के बंगले पर जमा हो गए और गिरफ्तार किए गए दोनों युवकों को छोड़ने की मांग करते हुए जमकर नारेबाजी की और वहीं धरने पर बैठ गए।
अपर पुलिस अधीक्षक के आश्वासन के बाद समाजवादी पार्टी के लोग धरने से उठ गए और पुलिस गिरफ्तार किए गए युवकों से पूछताछ में जुट गई।
क्या है पूरा मामला
आपको बता दें कि 2 माह पूर्व कुछ युवकों का ताश के पत्तों पर जुआ खेलते हुए एक वीडियो वायरल हुआ था जिसमें नजर आ रहे दो युवक अनवार और सालिम समाजवादी पार्टी के विधायक अब्दुल्लाह आजम खान के बेहद करीबी बताए जाते हैं।
दो दिन पहले ही अखिलेश यादव जब आजम खान से मिलने दिल्ली में ओखला स्थित निजी फ्लैट पर गए थे तो वहां पर खींची गई तस्वीर में यह दोनों युवक भी मौजूद थे। अचानक ही पुलिस एक्टिव हो गई और आनन-फानन में दोनों युवकों को गिरफ्तार कर लिया।
दोनों युवकों को छुड़ाने के लिए पुलिस अधीक्षक रामपुर के आवास पर समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं के साथ पहुंची समाजवादी पार्टी की नेता और रामपुर की नगर पालिका चेयर पर्सन फातिमा जबीं ने आरोप लगाया है कि पुलिस में ने आरोपियों के घरों में घुसकर महिलाओं के साथ मारपीट की और उनकी बेइज्जती की।
अपर पुलिस अधीक्षक ने कही जांच की बात
उधर अपर पुलिस अधीक्षक रामपुर संसार सिंह ने महिलाओं के साथ मारपीट और पुलिस अत्याचार के तमाम आरोपों को खारिज किया है। उन्होंने बताया कि दो युवक जो कि विधायक अब्दुल्लाह आजम खान के बेहद करीबी दोस्त बताए जाते हैं और जिनका जुआ खेलते हुए वीडियो वायरल हुआ था उसी मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए दोनों को गिरफ्तार किया है। उन्होंने बताया कि पुलिस जांच में जुटी हुई है और अभी कुछ महत्वपूर्ण जानकारियां मिल सकती है।
इस विषय पर अपर पुलिस अधीक्षक ने यह भी बताया कि कुछ लोग वीडियो वायरल के सिलसिले में लड़के सालिम और अनवार कई दिन से वांछित चल रहे थे। उसी को लेकर इन्हें आशंका थी कि कुछ गलत धारा लगा दें और गलत तरीके से बंद ना कर दें, तो इन्हें आश्वासन दिया गया है कि कोई गलत कार्रवाई पुलिस नहीं करेगी, वाजिब कार्यवाही करेगी और वाजिब धारा लगेगी। दो लोग गिरफ्तार किए गए हैं जो करीबी दोस्त है और बहुत करीबी दोस्त हैं जो यहां के मौजूदा माननीय विधायक हैं। पूछताछ में बहुत सारी चीजें आती हैं कि कहाँ रहे हैं, क्या करते थे और यह जुआ वगैरह कब से खेलते थे, कहां-कहां खेलते थे, कौन आपके साथ खेलता है… बहुत सारी चीजें हैं। आप लोग देख ही रहे हो वीडियो में जो 3 लोगों के तो सामने से ही चेहरे दिख रहे हैं और लोगों के भी हाथ आ रहे थे, उन्होंने अपने साथियों का भी नाम बताया है यह थे जो हमारे साथ हैं उन्होंने घर भी बताया कि हम उस घर में खेल रहे थे। महिलाओं को क्यों मारेगी पुलिस, पुलिस तो पुरुषों को भी नहीं मार रही है आजकल।
महिलाओं का बदसलूकी का आरोप
इस विषय पर नगर पालिका चेयरमैन फातमा जबीं ने बताया,”कप्तान साहब से यही कहने के लिए आए हैं कल कुछ महिलाओं को पुलिस ले गई थी उठाकर और वह रोने लगीं कि हमें बुर्खा ओढ़ने दीजिए उन्हें बुरा कभी नहीं होने दिया और जो महिलाएं थीं उन्होंने उन्हें मारा और मार कर उनको ले गई जबकि उसमें महिलाओं का कोई कसूर नहीं है और औरत की इज्जत इस तरह उछाली जाएगी तो कैसे चलेगा? हमें तो साडे 4 साल हो गए जुल्म झेलते झेलते, जुल्म की एक इंतेहा होती है और अब हमारी इज्जत पर भी आंच आ गई है कि पुलिस मार कर ले कर आ रही है। यह सोचने की बात है किसके घर में महिला नहीं है हर एक ही मां महिला है, चाहे वह पुलिस हो या कोई भी हो सभी की मां घरों में होती हैं, औरत की इज्जत इस तरह नीलाम की जाएगी। इसलिए जब औरत की इज्जत ही नहीं रही तो हम भी यहां आ गए कप्तान साहब से मिलने आए थे, उन्होंने हमसे यह कहा था कि कोई भी बात हो तो मुझसे मिलने आएं, सब काम नियम अनुसार होगा तो हम कप्तान साहब से मिलने आए उन्हीं का वेट कर रहे थे… उन्होंने कहा मैं आधे घंटे में अभी आ रहा हूं सारी समस्याएं सुनूंगा और बेगुनाहों को छोड़ दिया जाएगा तो हम उनका इंतजार कर रहे थे… इसलिए हम यहां बैठे हुए हैं, कप्तान साहब अभी तक नहीं आए हैं। यह कह रहे हैं कि कोई वीडियो वगैरा वायरल हुई थी इससे पहले, बाप को ले जाना बेटे को दे जाना लेकिन इसमें महिलाओं का क्या कसूर है औरतों को इस तरह जलील किया जाएगा, घसीट कर ना उन्हें बुर्क़ा ओढ़ने दिया। कप्तान साहब से मुलाकात हो चुकी है उन्होंने कहा कुछ पूजा के लिए जा रहे हैं मैं अभी आता हूं, उन्हें आधे घंटे में छोड़ देंगे सबको हम उनका वेट कर रहे थे। कोई साकिब हैं उन्हें के घर की कुछ महिलाएं थी महिलाओं को तो छोड़ दिया था लेकिन तरीका इतना खराब था जिससे आत्माएं हिल गई हैं महिलाओं की भी अब इज्जत नहीं रही…कहाँ जाएँ ?
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