Globaltoday.in | सऊद खान| रामपुर
सपा सांसद आजम खान(Azam Khan) एक बार फिर मुश्किलों में घिर सकते हैं. मामला आजम खान के बेटे अब्दुल्लाह आजम(Abdullah Azam) से जुड़ा है, जिनपर दो पासपोर्ट रखने का आरोप है, जिसको लेकर लगातार कोर्ट द्वारा निर्धारित की गई तारीखों पर अब्दुल्लाह आजम पेश नहीं हुए हैं, जिसके चलते कल कोर्ट में विवेचक ने चार्जशीट दाखिल की, लेकिन कोर्ट ने उसे नामंजूर कर दिया। न्यायालय द्वारा इस मामले में विवेचक को फटकार लगाई है.
रामपुर की एडीजे 6 कोर्ट ने अब्दुल्लाह आजम के दो पासपोर्ट वाले मामले में विवेचक की चार्टशीट को यह कहकर वापस कर दिया कि इस मुकदमे में धारा 467 468 और 471 के तहत मुकद्दमा दर्ज है और यह एक हीनियस क्राइम है. इस मामले में 7 साल से ज्यादा की सजा का प्रावधान है,इसीलिए ऐसे मामलों में न्यायालय आरोप पत्र नहीं लेता है. ऐसा कहकर विवेचक को चार्ट शीट वापस दे दी गई.
वही न्यायालय द्वारा इस मामले में आरोपी अब्दुल्लाह आजम को कोर्ट के समक्ष पेश करने के आदेश दिए गए हैं. अब ऐसे में अब्दुल्लाह आजम को अपने बचाव में उच्च न्यायालय से स्टे लाना होगा नहीं तो उन पर यह मामला भारी पड़ सकता है।
न्यायालय ने विवेचक पुलिस अधिकारी को कहा या तो मुलजिम को कोर्ट में पेश करें न्यायालय की अभिरक्षा में हो या,माननीय उच्च न्यायालय का कोई ऐसा स्टे आर्डर हो तभी इस पर संज्ञान लिया जाएगा, अन्यथा नहीं।
इस मामले में सरकारी वकील राम अवतार सैनी ने बताया आज रामपुर की एडीजे 6 कोर्ट वैसे कोई मामले की सुनवाई नहीं थी लेकिन एक मामला रामपुर के सिविल लाइन में दर्ज हुआ था धारा 420,467,468, 471 आईपीसी और पासपोर्ट अधिनियम के अंतर्गत मुकदमा दर्ज किया गया था उसमें विवेचक द्वारा आरोप पत्र पेश किया गया था जिसको कोर्ट ने यह कहते हुए वापस कर दिया कि यह एक हीनियस क्राइम है इसमें 7 साल से ज्यादा की सजा है ऐसे मामले में या तो मुलजिम पहले से जमानत पर हो या हाई कोर्ट का कोई आदेश हो स्टे हो उस मामले में तभी आरोप पत्र दाखिल किया जाता है और जिन मामलों में 7 साल से ज्यादा की सजा होती है उस मामले में न्यायालय आरोप पत्र नहीं लेता है और यही कहते हुए जैसे कि उच्च न्यायालय की बहुत सी रूलिंग हैं यही कहते हुए चार्ट शीट वापस कर दी कि या तो मुलजिम को गिरफ्तार करके पेश करें न्यायालय की अभिरक्षा में हो या माननीय उच्च न्यायालय का कोई ऐसा स्टे आर्डर हो तभी इस पर संज्ञान लिया जाएगा अन्यथा नहीं।
script async src=”https://pagead2.googlesyndication.com/pagead/js/adsbygoogle.js”>अब्दुल्लाह आजम के दो पासपोर्ट के संबंध में थाना सिविल लाइन में एफ आई आर दर्ज कराई गई थी जो 420,467, 468,471 जिसने 467 और 468 और 471 जो धारा हैं इनमें हिनियस क्राइम है इसमें 10 साल से ज्यादा तक की सजा है आजीवन कारावास तक की सजा है ।
पूरा मामला सपा सांसद आजम खान की अब्दुल्लाह आजम से जुड़ा है, जिसमें न्यायालय द्वारा पुलिस को यह कहा गया है कि या तो उनको गिरफ्तार करके पेश करें या मुलजिम इस मामले में कोई उच्च न्यायालय का स्टे आर्डर दिखाएं। ऐसे मामले जिनमें 7 साल से ज्यादा तक की सजा होती है उनमें कोर्ट संज्ञान नहीं लेती है यही कहते हुए कोर्ट ने विवेचक को चार्जशीट वापस कर दी है।
- इमरान खान भी जल्द होंगे जेल से रिहा: मुख्यमंत्री केपी का दावा
- It is the duty of each person in society to root out corruption: Ravindra Kumar
- भ्रष्टाचार का उन्मूलन समाज के हर व्यक्ति की जिम्मेदारी: रविंद्र कुमार
- Two Killed, 4 Others Injured In Road Accident In Banihal
- हमास ने युद्धविराम पर बातचीत करने की सशर्त इच्छा व्यक्त की