रामपुर की पूर्व सांसद और लोकसभा चुनाव में भाजपा प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ी अभिनेत्री जयाप्रदा ने एक बार फिर रामपुर में अपनी पैठ बनानी शुरू कर दी है। हालांकि जयाप्रदा लोकसभा चुनाव में अपने विपक्षी सपा नेता आजम खान से हार गई हैं, लेकिन बहुत कम समय में रामपुर में अपनी लोकप्रियता को उजागर कर वह खुद को जीता हुआ मानती हैं। इसी क्रम में आज जयप्रदा रामपुर के लालपुर डैम पहुंची जहां पर पिछले लोकसभा चुनाव के समय से पुल बनने का काम चल रहा है।
पूर्व सांसद और फिल्म अभिनेत्री जयप्रदा रामपुर के लालपुर पुल पहुंची दौरा करने के बाद जयप्रदा ने वहां के लोगों से पुल को लेकर बातचीत की और उनकी समस्याएं सुनी जयप्रदा ने अस्थाई रूप से बने पुल पर जाकर वहां का भी मुआयना किया।
रामपुर/सऊद खान: जयाप्रदा ने सांसद रहते हुए भी लालपुर पुल बनवाने का प्रयास किया था और पुल बनवाने की स्वीकृति भी मिल गयी थी। लेकिन 2014 के बाद पुल बनने का काम शिथिल हो गया है। हालांकि रामपुर में लगभग 12 पुलों का निर्माण करवा चुकी हैं। लेकिन राजनीतिकरण के चलते लालपुर पुल का काम कई वर्षों से अधर में लटका हुआ है, जिसके लिए जयाप्रदा एक बार फिर पुल बनवाने के लिए मैदान में उतरी हैं और उनका यह दावा है कि वो इस बार पुल बनवा ही देंगी।
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यहां मीडिया से मुखातिब होते हुए जयाप्रदा ने कहा जब मैं सांसद बनी थी तो गांव को शहर से जोड़ने के लिए 12 पुल बनवाए। लालपुर पुल बनवाने के लिए बहुत प्रयास किया, 2014 में पुल बनवाने के लिए इसका प्रस्ताव भी भेजा गया लेकिन पुल बनते बनते रोक दिया गया। कुछ लोगों की वजह से जो पैसा आवंटित हुआ वह यहां की राजनीतिक दबाव के कारण वापस चला गया।
जयाप्रदा ने बताया पुल बनाने के लिए 30 करोड़ की लागत की जरूरत है। मौजूदा स्थिति में पुल का 36% काम हो चुका है और अभी इसे पूरा करने के लिए 20 करोड़ की ज़रूरत है, जिसके लिए हम शासन को रिवाइज्ड प्रस्ताव भेज रहे हैं। वहीं इस संबंध में जयाप्रदा ने मुख्यमंत्री से मिलने की भी बात कही।
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जयाप्रदा ने कहा आज के दौरे में पुल का आंकलन के आधार पर प्रस्ताव तैयार किया जाएगा, जिसके बाद ही रिवाइज्ड प्रस्ताव भेजा जाएगा। वहीं अपने राजनीतिक विपक्षी कद्दावर नेता आज़म खान और उनके विधायक बेटे अब्दुल्लाह आज़म का नाम लिए बिना ही उन्होंने पुल ना बनने को लेकर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि इतने सालों से मंत्री रहे और उनका जो लड़का यहां विधायक रहा उन्होंने भी लालपुर के पुल के बारे में कुछ नहीं सोचा।
मौजूदा सरकार में भी पुल ना बनने को लेकर किए गए सवाल पर जयाप्रदा ने कहा राजनीति करने का कोई मतलब नहीं है। वहीं एक बार फिर पूर्व में मंत्री रहे आज़म खान पर निशाना साधते हुए कहा मंत्री तो पूरे प्रदेश का होता ,है उनकी सरकार भी थी क्या किया, उस वक्त उन्होंने कहा मैं राजनीति नहीं करना चाहती हमें लोगों का प्यार मिला है इसे हम सियासत के रूप में नहीं देखना चाहते हैं।
हार के बावजूद जीता हुआ मानती हूँ
जयाप्रदा ने कहा लोकसभा चुनाव में अपनी हार के बावजूद खुद को जीता हुआ मानती हूं। उन्होंने कहा पहले भी सैफ़नी
का पुल बनवाने के लिए हमने धरना और भूख हड़ताल भी की है,अब आगे देखना होगा कि क्या करना है।
जयाप्रदा तेज़ धूप में मुआइना कर वापस लौटते वक़्त थोड़ी देर आराम करने के लिए एक पेड़ के निचे खड़ी बाइक पर जा बैठीं जहां उनको देखने वालों और मिलने वालों की भीड़ लग गयी।
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