हमारे साथ सबसे बड़ी समस्या यह है कि जब कोई भी छोटी बड़ी घटना होती तो हम सब अपना अपना दामन बचाने के लिए फौरन एक बली का बकरा ढूंढ लेते है।
सिंगर कर्णिका कपूर(Kanika Kapoor) के साथ भी यही हुआ। उसने अपनी बीमारी अपने प्रोफ़ेशनल स्वार्थ के लिए जान बूझ कर छुपाई या अनजाने में , यह एक अलग बहस है लेकिन यहां मुद्दा उसकी गलती का नहीं बल्कि उस ब्लंडर का है जो राज्य सरकार और उसके स्वस्थ मंत्री के हाथों सरज़द हुआ है।
ध्यान देने के योग्य बात यह है कि इस पार्टी से पहले 110 देशों में क्रोना वायरस के फैलने और उससे हज़ारों लोगों के मारे जाने की खबर आ चुकी थी , और तो और भारत में भी इसने अपने पांव पसार लिए थे, सरकार भी कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए एडवाइजरी जारी कर चुकी थी कि एक जगह 50 से ज़्यादा लोग जमा नहीं हो सकते।
ऐसे में स्वास्थ मंत्री का , जिनके हाथों में 23 करोड़ लोगों के स्वास्थ्य की ज़िम्मेदारी है, और एक बर्थडे पार्टी में जाना मुझे तो हास्यास्पद ही लगता है। बर्थडे पार्टी कि और उसमें शामिल नेताओं और आला अफसरों की तस्वीरें समाचारपत्रों के पेज 3 में छपे, इसके लिए सिंगर कर्णिका कपूर को बुलाया गया। वो अाई और पैसे कमाकर चली गई। हम उसपर मोरल रिस्पांसिबिलिटी तो डाल सकते हैं लेकिन असल ज़िम्मेदारी तो उनके ही सर तो मथना पड़ेगा जिनके हाथ में पूरे राज्य के स्वास्थ की ज़िम्मेदारी है। यह कहां का नियाए है कि गरीब अवाम तो अपना समाजी दायित्व निभाते हुए अपने घरों में रहे और बड़े लोग पार्टियां करें . इस संक्रमण को और बढ़ावा दे?
मैं तो कहता हूं के माननीय स्वास्थ मंत्री श्री जय राम सिंह जी को इस घटना की नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए तुरंत अपने पद से त्याग पत्र दे देना चाहिए।
आखिर में मैं एक बात सभी से कहना चाहूंगा। कोई भी संक्रमण जात, धरम, अमीर और गरीब देख कर नहीं फैलता। इसीलिए इसके रोकना हम सब की समाजी ज़िम्मेदारी है। जिस तरह यह वायरस जात और धर्म देख कर नहीं फैलता, उसी तरह हम सब को भी जात धर्म से ऊपर उठकर सोचना होगा और अच्छी सोच तो यही होगी की जब तक इस महामारी का खतरा है, तबतक हम मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा, चर्च या रामनवमी जैसे त्योहारों की भीड़ से दूर रहें। धार्मिक कर्मकांड करने के लिए पूरी ज़िन्दगी पड़ी है। सचेत रहें, सावधान रहें और सुरक्षित रहें।